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सताये हुए मसीहियों के लिये एक संदेश

क्या आप ने कभी “सताये हुए मसीही” शब्द सुना है? इसका शब्द का मतलब और इसकी परिभाषा क्या है? दुनिया के विभिन्न भागों में हज़ारों लाखों मसीहियों को दैनिक आधार पर यीशु मसीह पर उनके विश्वास के कारण सताया जाता है। वे सताए जाते हैं यीशु से प्यार करने के कारण, यीशु को अपना एक इकलौता और सच्चा उद्धारकर्ता मानने के कारण, और हर तरह का उत्पीड़न सहने के बावजूद वे यीशु के बताये रास्ते पर चलना नहीं छोड़ते हैं। मसीहियों की बेरहमी से हत्या की जाती है, उन्हें ज़िंदा जला दिया जाता है। अनगिनत मसीही अपने घर, परिवार और अपनी जीवन भर की जमा पूँजी खो देते हैं।

मसीहियों को अपना देश छोड़ने और अन्य देशों में पलायन कर के वहां निर्वासन में रहने को मजबूर होना पड़ता है। मसीही होना और एक मसीही जीवन गुज़ारना इस पृथ्वी पर सब से मुश्किल कामों में से एक बन चुका है। यीशु मसीह ने भी इस बात की भविष्यवाणी की थी कि उसके अनुयायी होने के कारण हमें सताया जायेगा। इतिहास गवाह है कि मसीही हर दौर में सताए गए थे और आज भी सताये जा रहे हैं। आज इस विडियो के माध्यम से इंटरनेशनल चर्च मैड्रिड, स्पेन से पास्टर डेविड माइकल सैंटियागो हमें बता रहे हैं कि क्यों मसीहियों को सताया जाता है इस तरह की कठिन परिस्तिथि में यीशु के इन चाहने वालों को क्या करना चाहिए।